न्यूज़ एसीबी 7 – सीतापुर: किसान कल्याण मिशन के अन्तर्गत कृषि एवं कृषि आधारित गतिविधियों के माध्यम से किसान कल्याण तथा किसानों की
न्यूज़ एसीबी 7 – सीतापुर: किसान कल्याण मिशन के अन्तर्गत कृषि एवं कृषि आधारित गतिविधियों के माध्यम से किसान कल्याण तथा किसानों की
आमदनी को दोगुना करने के अभियान के अन्तर्गत जनपद के सिधौली, पहला, मिश्रिख, सकरन, परसेण्डी, ऐलिया एवं पिसावां आदि । विकास खण्डों में मेला एवं गोष्ठी कार्यक्रम आयोजित किये गये। जिनमें जनप्रतिनिधि एवं संबंधित अधिकारी मौजूद रहे। विकास खण्ड एलिया में किसान कल्याण मिशन के अन्तर्गत आयोजित मेला एवं गोष्ठी का उद्घाटन जिलाधिकारी विशाल भारद्वाज ने फीता काटकर किया। उन्होंने यहां लगाये गये स्टालों को भी देखा। कार्यक्रम में दौरान कृषि विभाग, गन्ना विभाग, ग्राम्य विकास विभाग, सिंचाई विभाग, पंचायती राज विभाग, बाल विकास पुष्टाहार विभाग, उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण विभाग, बेसिक शिक्षा आदि विभागो के द्वारा स्टाल लगाकर किसानों को आवश्यक जानकारियां दी गयीं, तथा उनकी समस्याओं का भी निराकरण किया गया। कृषि विज्ञान केन्द्र के वैज्ञानिक डा0 शैलेन्द्र सिंह ने कृषि विविधीकरण पर किसानों को विस्तारपूर्वक जानकारी दी। जिलाधिकारी ने प्रगतिशील किसानों एवं अन्य योजनाओं के अन्तर्गत प्रस्तावित लाभार्थियों को प्रमाण-पत्र भी वितरित किये। गोष्ठी को सम्बोधित करते हुये जिलाधिकारी विशाल भारद्वाज ने सभी को कृषि विविधीकरण अपनाकर उन्नत खेती करने के लिये प्रेरित किया। जैविक कृषि के लिये प्रेरित करते हुये जिलाधिकारी ने कहा कि जैविक खेती के माध्यम से उत्पादित उत्पादों की मांग शहरों में अधिक रहती है, तथा किसान बेहतर प्रबन्धन से अधिक लाभ भी कमा सकते हैं। उन्होंने खेती के अतिरिक्त मत्स्य पालन, कुक्कुट पालन, शहद उद्योग आदि के द्वारा भी आमदनी बढ़ाये जाने के लिये किसानो को प्रेरित किया। जिलाधिकारी ने किसान कल्याण मिशन के अन्तर्गत आयोजित इस कार्यक्रम की उपयोगिता के विषय में बताते हुये सभी को प्रेरित किया कि यहां पर लगाये गये स्टालों से लाभान्वित हों एवं अपनी समस्याओं का निराकरण करायें। साथ ही कृषि वैज्ञानिकों द्वारा बताये गये उपायों को प्रयोग करके कम लागत में अधिक उत्पादन कर लाभान्वित हों। श्री भरद्वाज न कहा कि जैसा कि हम सभी अवगत हैं भारत कृषि प्रधान देश है। जनपद सीतापुर की अधिकांश जनसंख्या भी कृषि एवं कृषि आधारित उद्योगों पर निर्भर है। उन्होंने कहा कि कृषि विज्ञान केन्द्र के वैज्ञानिकों द्वारा अवगत कराया गया, कि जनपद में पहले मूंगफली का उत्पादन अधिक था तथा बाद में लोग अधिकांशतः गन्ने की कृषि करने लगे। यद्यपि जनपद सीतापुर में गन्ने का उत्पादन अधिक होने के साथ-साथ मिलों के माध्यम से उनकी अच्छी खरीद है तथा अन्य जनपदों से भुगतान की स्थिति भी बेहतर है। फिर भी हमें कृषि में विविधीकरण को अपनाना चाहिये। सरकार का यह प्रयास भी है कि उन फसलों का उत्पादन अधिक किया जाये, जिनकी मांग अधिक है तथा किसान अधिक से अधिक लाभान्वित हों। कार्यक्रम में खण्ड विकास अधिकारी एलिया, ब्लाॅक प्रमुख सहित संबंधित अधिकारी व बड़ी संख्या में विभिन्न क्षेत्रों से कृषक आदि उपस्थित रहे।
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